Shayaris On Eyes

Shayaris On Eyes | आँखो की शायरी | तारीफ शायरी |

Shayaris on Eyes:- आँखे कभी कभी किसी किसी की इतनी अच्छी होती हैं कि हम बिना तारीफ किये रह नही पाते हैं । और अगर किसी की आँखे खूबसूरत हैं तो हमें तारीफ करनी भी चाहिए । और आँखो की तारीफ अगर शायरियों से किया जायें तो सुनने वाले को और भी अच्छा लगेगा। तो इसी के लिए हम आपको यहां पर कुछ आँखो की शायरियां दे रहे हैं जिन्हे आप उनको भेज सकते हैं जिनकी आँखे आपको अच्छी लगती हैं। इन Shayaris On Eyes शायरियो को आप एक बार जरूर पढ़े और आप जिनसे प्यार करते हैं उनको जरूर भेजे।

Love Shayari in Hindi – प्यार की शायरी 2023

Best Shayaris On Eyes 

इकरार में शब्दों की एहमियत नहीं होती,
दिल के जज़्बात की आवाज़ नहीं होती,
आँखें बयान कर देती है दिल की दास्तान,
मोहब्बत लफ्जों की मोहताज नहीं होती।

तेरी निगाह दिल से जिगर तक उतर गयी,
दोनों को ही एकअदा में रजामंद कर गई।

सागर से गहरी हैं आपकी ये नजरें,
खुशियों की शहनाई हैं आपकी ये नजरें,
हुस्न का जाम हैं आपकी ये नजरें,
छुपायें कई अरमान आपकी ये नजरें,
ले ले न कहीं हमारी जान आपकी ये नजरें।

एक नजर देख ले हमे जीने की इजाजत दे दे,
ए रुठने वाले… वो पहली सी मोहब्बत दे दे।

जब भी देखता हूँ मुझसे हरबार नज़रें चुरा लेती है,
मैंने कागज़ पर भी बना के देखी हैं आँखें उसकी।

उसने आँखों से आँखें जब मिला दी,
हमारी ज़िन्दगी झूम कर मुस्कुरा दी,
जुबान से तो हम कुछ न कह सके,
पर आँखों ने दिल की कहानी सुना दी।

उठती नहीं है आँख किसी और की तरफ,
पाबन्द कर गयी है किसी की नजर मुझे,
ईमान की तो ये है कि ईमान अब कहाँ,
काफ़िर बना गई तेरी काफ़िर-नज़र मुझे।

इश्क के फूल खिलते हैं तेरी खूबसूरत आँखों में,
जहाँ देखे तू एक नजर वहाँ खुशबू बिखर जाए।

उस घड़ी देखो उनका आलम
नींद से जब हों बोझल आँखें,
कौन मेरी नजर में समाये
देखी हैं मैंने तुम्हारी आँखें।

जाने क्यों डूब जाता हूँ हर बार इन्हें देख कर,
इक दरिया हैं या पूरा समंदर हैं तेरी आँखें।

निगाहों से कत्ल कर दे न हो तकलीफ दोनों को,
तुझे खंजर उठाने की मुझे गर्दन झुकाने की।

Shayari in Beauty

हमे आस पास के कुछ लोग इतने खूबसूरत होते हैं या हम जिनसे भी प्यार करते हैं वो भी बहुत खूबसूरत लगते हैं और हम अक्सर उनकी खूबसूरती की तारीफ भी करते ही रहते होगें तो क्यू न हम उनकी खूबसूरती की तारीफ एक खूबसूरत शायरी से करे। इसी लिए सिर्फ आपके लिए हम Beauty की कुछ बहुत ही खूबसूरत सी शायरियां दे रहे हैं और इन सभी शायरियों को आप उनके साथ जरूर शेयर करे जिनसे आप प्यार करते हैं क्योकि उनसे खूबसूरत दुनिया में और कोई नही होता हैं।

हैं होंठ उसके किताबों में लिखी तहरीरों जैसे,
ऊँगली रखो तो आगे पढ़ने को जी करता है।

उनके हुस्न का आलम न पूछिये,
बस तस्वीर हो गया हूँ, तस्वीर देखकर।

न देखना कभी आईना भूल कर देखो
तुम्हारे हुस्न का पैदा जवाब कर देगा।

आफ़त तो है वो नाज़ भी अंदाज़ भी लेकिन,
मरता हूँ मैं जिस पर वो अदा और ही कुछ है।

मुझे दुनिया की ईदों से भला क्या वास्ता यारो,
हमारा चाँद दिख जाये हमारी ईद हो जाये।

ऐसा ना हो तुझको भी दीवाना बना डाले,
तन्हाई में खुद अपनी तस्वीर न देखा कर।

बचपन में सोचता था चाँद को छू लूँ,
आपको देखा वो ख्वाहिश जाती रही।

कैसे बयान करें सादगी अपने महबूब की,
पर्दा हमीं से था मगर नजर भी हमीं पे थी।

नींद से क्या शिकवा जो आती नहीं रात भर,
कसूर तो उस चेहरे का है जो सोने नहीं देता।

नहीं भाता अब तेरे सिवा किसी और का चेहरा,
तुझे देखना और देखते रहना दस्तूर बन गया है।

इस डर से कभी गौर से देखा नहीं तुझको​,​
​​कहते हैं कि लग जाती है अपनों की नज़र भी​।

क्यों चाँदनी रातों में दरिया पे नहाते हो,
सोये हुए पानी में क्या आग लगानी है।

इस सादगी पे कौन न मर जाए ऐ ख़ुदा,
लड़ते हैं और हाथ में तलवार भी नहीं।

क्या लिखूं तेरी तारीफ-ए-सूरत में यार,
अलफ़ाज़ कम पड़ रहे हैं तेरी मासूमियत देखकर।

आज उसकी मासूमियत के कायल हो गए,
सिर्फ उसकी एक नजर से ही घायल हो गए।

वो मुझसे रोज़ कहती थी मुझे तुम चाँद ला कर दो,
उसे एक आईना दे कर अकेला छोड़ आया हूँ।

तेरा अंदाज़-ए-सँवरना भी क्या कमाल है,
तुझे देखूं तो दिल धड़के ना देखूं तो बेचैन रहूँ।

वो निगाहों से यूँ शरारत करते हैं,
अपनी अदा से भी कयामत करते हैं,
निगाहें उनकी भी चेहरे से हटती नहीं,
और वो हमारी नजरों से शिकायत करते हैं।

तुम हक़ीकत नहीं हो हसरत हो,
जो मिले ख़्वाब में वही दौलत हो,
किस लिए देखती हो आईना,
तुम तो खुदा से भी ज्यादा खूबसूरत हो।

Hindi shayari on Beauty

कुछ अपना अंदाज हैं कुछ मौसम रंगीन हैं,
तारीफ करूँ या चुप रहूँ जुर्म दोनो ही संगीन हैं! ?

हर बार हम पर इल्जाम लगा देते हो मुहब्बत का,
कभी खुद से भी पूंछा है इतनी खूबसूरत क्यों हो!

अगर तुम न होते तो ग़ज़ल कौन कहता,
तुम्हारे चहरे को कमल कौन कहता,
यह तो करिश्मा है मोहब्बत का..
वरना पत्थर को ताज महल कौन कहता।

कितना खूबसूरत चेहरा है तुम्हारा,
ये दिल तो बस दीवाना है तुम्हारा,
लोग कहते है चाँद का टुकड़ा तुम्हें,
पर मैं कहता हूँ चाँद भी टुकड़ा है तुम्हारा।

तुझे पलकों पे बिठाने को जी चाहता है
तेरी बाहों से लिपटने को जी चाहता है,
खूबसूरती की इंतेहा हैं तू,
तुझे ज़िन्दगी में बसाने को जी चाहता है।

इस प्यार का अंदाज़ कुछ ऐसा है,
क्या बताये ये राज़ कैसा है,
कौन कहता है कि आप चाँद जैसे हो,
सच तो ये है कि खुद चाँद आप जैसा है।

कुछ खूबसूरत पल याद आते हैं,
पलकों पर आँसु छोड जाते हैं,
कल कोई और मिले हमें न भुलना
क्योंकि कुछ रिश्ते जिन्दगी भर याद आते हैं।

मस्त नज़रों से देख लेना था अगर तमन्ना थी आज़माने की,
हम तो बेहोश यूँ ही हो जाते क्या ज़रूरत थी मुस्कुराने की

ख़ुद न छुपा सके वो अपना चेहरा नक़ाब में,
बेवज़ह हमारी आँखों पे इल्ज़ाम लग गया।।

ऐसा ना हो तुझको भी दीवाना बना डाले,
तन्हाई में खुद अपनी तस्वीर न देखा कर।

कैसे बयान करें सादगी अपने महबूब की,
पर्दा हमीं से था मगर नजर भी हमीं पे थी।

नींद से क्या शिकवा जो आती नहीं रात भर,
कसूर तो उस चेहरे का है जो सोने नहीं देता।

तुम हक़ीकत नहीं हो हसरत हो,
जो मिले ख़्वाब में वही दौलत हो,
किस लिए देखती हो आईना,
तुम तो खुदा से भी ज्यादा खूबसूरत हो।

सुर्ख आँखो से जब वो देखते है,
हम घबराकर आँखे झुका लेते है,
क्यू मिलाए उन आँखो से आखे,
सुना है वो आखो से अपना बना लेते है।

हमदम तो साथ-साथ चलते हैं,
रास्ते तो बेवफा बदलते हैं,
तेरा चेहरा है जब से आंखों में
मेरी आंखों से लोग जलते हैं.

कुछ अपना अंदाज हैं कुछ मौसम रंगीन हैं,
तारीफ करूँ या चुप रहूँ जुर्म दोनो ही संगीन हैं!

हर बार हम पर इल्जाम लगा देते हो मुहब्बत का,
कभी खुद से भी पूंछा है इतनी खूबसूरत क्यों हो!

अगर तुम न होते तो ग़ज़ल कौन कहता,
तुम्हारे चहरे को कमल कौन कहता,
यह तो करिश्मा है मोहब्बत का..
वरना पत्थर को ताज महल कौन कहता।

कितना खूबसूरत चेहरा है तुम्हारा,
ये दिल तो बस दीवाना है तुम्हारा,
लोग कहते है चाँद का टुकड़ा तुम्हें,
पर मैं कहता हूँ चाँद भी टुकड़ा है तुम्हारा।

तुझे पलकों पे बिठाने को जी चाहता है
तेरी बाहों से लिपटने को जी चाहता है,
खूबसूरती की इंतेहा हैं तू,
तुझे ज़िन्दगी में बसाने को जी चाहता है।

Eye shayari in hindi

एक सी शोखी खुदा ने दी है हुस्नो-इश्क को,
फर्क बस इतना है वो आंखों में है ये दिल में है।

उसकी कुदरत देखता हूँ तेरी आँखें देखकर,
दो पियालों में भरी है कैसे लाखों मन शराब।

रात बड़ी मुश्किल से खुद को सुलाया है मैंने,
अपनी आँखों को तेरे ख्वाब का लालच देकर।

खुलते हैं मुझ पे राज कई इस जहान के,
उसकी हसीन आँखों में जब झाँकता हूँ मैं।

मेरी आँखों में झाँकने से पहले,
जरा सोच लीजिये ऐ हुजूर…
जो हमने पलके झुका ली तो कयामत होगी,
और हमने नजरें मिला ली तो मुहब्बत होगी।

फिर न कीजे मेरी गुस्ताख निगाहों का गिला,
देखिये आपने फिर प्यार से देखा मुझको।

सौ सौ उम्मीदें बंधती है, इक-इक निगाह पर,
मुझको न ऐसे प्यार से देखा करे कोई।

मेरे होठों ने हर बात छुपा कर रखी थी,
आँखों को ये हुनर कभी आया ही नहीं।

शोर न कर धड़कन ज़रा, थम जा कुछ पल के लिए,
बड़ी मुश्किल से मेरी आखों में उसका ख्वाब आया है।

सामने ना हो तो तरसती हैं आँखें,
याद में तेरी बरसती हैं आँखें,
मेरे लिए नहीं इनके लिए ही आ जाओ,
आपका बेपनाह इंतज़ार करती हैं आँखें।

बहुत खूबसूरत हैं ये आँखें तुम्हारी,
इन्हें बना दो किस्मत हमारी,
हमें नहीं चाहिये ज़माने की खुशियाँ,
अगर मिल जाये मोहब्बत तुम्हारी।

हम भटकते रहे थे अनजान राहों में,
रात दिन काट रहे थे यूँ ही बस आहों में,
अब तम्मना हुई है फिर से जीने की हमें,
कुछ तो बात है सनम तेरी इन निगाहों में।

नज़र ने नज़र से मुलाक़ात कर ली,
रहे दोनों खामोश पर बात कर ली,
मोहब्बत की फिजा को जब खुश पाया,
इन आंखों ने रो रो के बरसात कर ली।

2 Line Shayari Eyes

डूब कर तेरी झील सी गहरी आँखों में,
एक मयकश भी शायद पीना भूल जाए।

कुछ तुम्हारी निगाह काफिर थी,
कुछ मुझे भी खराब होना था।

तुम्हारी एक निगाह से कतल होते हैं लोग “फ़राज़”
एक नज़र हम को भी देख लो के तुम बिन ज़िन्दगी अच्छी नहीं लगती।

क़ैद ख़ानें हैं, बिन सलाख़ों के,
कुछ यूँ चर्चें हैं , तुम्हारी आँखों के.

वो कहने लगी, नकाब में भी पहचान लेते हो हजारों के बीच ?
मैंने मुस्करा के कहा,
तेरी आँखों से ही शुरू हुआ था इश्क हज़ारों के बीच..

ये आईने नही दे सकते तुम्हे तुम्हारी खूबसूरती की सच्ची ख़बर,
कभी मेरी इन आँखों में झांक कर देखो की कितनी हसीन हो…

हर बार तेरी मुस्कुराती आँखों को देखता हूँ,
चला आता हूँ तेरे पास ख़यालों में उड़ते हुए..

नींद को आज भी शिकवा है मेरी आँखों से ,
मैंने आने न दिया उसको कभी तेरी याद से पहले..

जो सुरूर है तेरी आँखों में वो बात कहां मैखाने में,
बस तू मिल जाए तो फिर क्या रखा है ज़माने में..

तुम्हारी निगाहें बहुत बोलती हैं,
जरा अपनी आँखों पे पलके गिरा दो….

चख के देख ली दुनिया भर की शराब की बोतलें,
जो नशा तेरी आँखों में था वो किसी में नहीं..

जब बिखरेगा तेरी गालों पे तेरी आँखों का पानी,
तब तुझे एहसास होगा की मोहब्बत किसे कहते है..

नकाब तो उनका सर से लेकर पाँव तक था
मगर आँखें बयान कर रही थी की मोहब्बत की शौक़ीन वो भी थी

न किया कर अपने दर्द ए दिल को शायरी मैं बयान
लोग और टूट जाते है हर लफ्ज़ को अपनी दास्ताँ समझ कर

हम तो फ़ना हो गए उन को की आँखें देख कर ग़ालिब
न जाने वो आईना कैसे देखते होंगे

वो कहने लगी नकाब के पीछे भी पहचान लेते हो हजारो के बिच
मैंने मुश्कुरा कर कहा तेरी आखें से ही शुरू
हुवा था इश्क हजारो के बिच

तेरी हर अदा नशीली है इतनी की
किसी और नशे की जरुरत ही न पड़े
डूब जाना चाहता हु तेरी आँखों में
इतना की निकलने की जरुरत न पड़े

साकी देख ज़माने ने कैसी तुहमत लगायी है
आंकें तेरी नशीली है शराबी मुझे कहते है

खुदा जाने मेरे किया वजन है उनकी निगाहों में
सुना है आदमी को में तुल लेते है

ये आँखें है जो तुम्हारी किसी
ग़ज़ल की तरह खुबसूरत है
कोई पढ़ ले इन्हें एक दफा तो शायर हो जाए

नोट:- Latest Shayari पाने के लिए हमारे Facebook page को like करे. अगर आपको Shayaris On Eyes शायरी पसंद आये तो इसे अपनी प्रियजनों को शेयर करे. धन्यवाद्

Similar Posts

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *